शिववाड़ी मंदिर का अधिग्रहण करेगी प्रदेश सरकार
दौलतपुर चौक — शिव मंदिर गगरेट का प्रदेश सरकार ने एक बार पुनः अधिग्रहण कर लिया है। इस संबंध में प्रदेश सरकार ने अधिसूचना जारी कर दी है। सुप्रसिद्ध शिववाड़ी मंदिर गगरेट का एक बार फिर से अधिग्रहण करने की अधिसूचना जारी करने की बात सामने आने से शिवभक्तों की आस्थाओं को ठेस पहुंची है। यह मंदिर द्रोणाचार्य शिवमंदिर के नाम से भी प्रसिद्ध है और शिवरात्रि के दिन पूरे उत्तर भारत के शिव भक्त यहां पर शीश नवाने आते हैं, इसके अतिरिक्त वर्ष भर भक्तों का तांता यहां देखने को मिलता है। काबिलेगौर है कि इस मंदिर में पूजा अर्चना के साथ-साथ मंदिर के चढ़ावे पर स्वर्गीय कृष्ण मुरारी के पुत्र अजय शर्मा एवं अश्वनी शर्मा का परिवार काबिज है। वर्ष 2007 में जब प्रदेश में कांग्रेस सरकार थी व कुलदीप कुमार उद्योग मंत्री थे उस समय शिववाड़ी मंदिर पर अधिग्रहण की सूचना जारी कर प्रदेश सरकार ने मंदिर को अपने अधीन ले लिया था। उस समय एसडीएम अंब के अधीन एक कमेटी मंदिर चढ़ावे व अन्य कामकाज देखती थी। इसके बाद 2009 में जब भाजपा सरकार सत्ता में आई तो मंदिर के अधिग्रहण के निर्णय को पलट दिया गया तथा सरकारी अधिसूचना को वापस ले लिया गया था। प्रदेश सरकार ने गत वर्ष 2013 में कैबिनेट में मंदिर अधिग्रहण करने का निर्णय लिया था, परंतु उक्त मंदिर का कोर्ट में केस होने की वजह से अधिसूचना जारी नहीं हुई थी। अब सरकार ने एक बार पुनः मंदिर के अधिग्रहण की अधिसूचना जारी कर मंदिर को अपने अधीन लेने की कार्रवाई शुरू कर दी है। इस संबंध में मंदिर के मुख्य पुजारी अजय शर्मा ने बताया कि मंदिर के अधिग्रहण की सूचना उन्हें नहीं है, परंतु अगर प्रदेश सरकार ने ऐसा निर्णय लिया है तो वह हजारों भक्तों की आस्था के साथ खिलवाड़ है। उन्होंने कहा कि मंदिर पर उनके परिवार का हक है और इसके खिलाफ वह अदालत का दरवाजा खटखटाएंगे। वहीं उपायुक्त ऊना अभिषेक जैन ने मंदिर के अधिग्रहण की अधिसूचना जारी होने की पुष्टि की है। उन्होंने कहा कि मंदिर अधिग्रहण बारे जारी अधिसूचना प्राप्त हो गई है।
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